खाटू नगरी जो भी आया बनते उसके काम है
( तर्ज - तेरे बिना ना गुज़रा ए )
खाटू नगरी जो भी आया बनते उसके काम है,
कोठी अंदर देखो भक्तों बैठे बाबा श्याम है,
बड़ा ही दातार सांवरे तू खेवनहार सांवरे,
तू हारे का सहारा है तुमसे चलता गुजरा है,
रिंगस से मैं बाबा लिया यह निशान है,
नमकीन के साथ मैंने लिया मीठा पान है,
तू मेरी पहचान सांवरे तू खेवनहार सांवरे,
तू हारे का सहारा है तुमसे चलता गुजरा है....
तोरण द्वार तेरा बाबा ताजमहल से सुंदर है,
सीना चीर के देखो बाबा दिल के तू अंदर है,
तू बड़ा क्यूट सांवरे तू खेवनहार सांवरे,
तू हारे का सहारा है तुमसे चलता गुजरा है ...
लकी क्यों घबराए बाबा जब बैठा श्याम है,
हर पल बाबा वो तो लेता तेरा नाम है,
तू बड़ा दिलदार सांवरे तू खेवनहार सांवरे,
तू हारे का सहारा है तुमसे चलता गुजरा है ...
Ly rics - lucky Shukla
श्रेणी : खाटू श्याम भजन
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यह भजन "खाटू नगरी जो भी आया बनते उसके काम है" बाबा श्याम की महिमा का एक अनूठा वर्णन करता है। यह भजन भक्तों की अटूट श्रद्धा और बाबा श्याम की कृपा को दर्शाता है। भजन में बताया गया है कि जो भी श्रद्धालु खाटू नगरी में आता है, उसकी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं। बाबा श्याम अपने भक्तों के हर दुख को हरते हैं और उन्हें जीवन में आगे बढ़ने का मार्ग दिखाते हैं।
भजन में खाटू धाम के सौंदर्य और दिव्यता का भी उल्लेख किया गया है। बाबा का तोरण द्वार ताजमहल से भी सुंदर बताया गया है, जो भक्तों के प्रेम और विश्वास को दर्शाता है। यह भी बताया गया है कि बाबा श्याम भक्तों के हृदय में निवास करते हैं और उनका हर पल ध्यान रखते हैं। "तू बड़ा दिलदार सांवरे, तू खेवनहार सांवरे" जैसी पंक्तियाँ बाबा श्याम की कृपालुता और दयालुता को उजागर करती हैं।
यह भजन लक्की शुक्ला जी द्वारा रचित है, जिन्होंने अपनी भावनाओं को सुंदर शब्दों में पिरोकर इस भक्ति रचना को तैयार किया है। उनकी रचना में न केवल भक्ति का भाव प्रकट होता है बल्कि यह भी दर्शाया गया है कि बाबा श्याम का हर भक्त उनके प्रति कितनी अटूट श्रद्धा रखता है। यह भजन सुनने और गाने से मन को शांति और आस्था की शक्ति प्राप्त होती है, जो हर भक्त के हृदय में बाबा श्याम के प्रति प्रेम और भक्ति को और भी मजबूत कर देता है।