तेरे रहते बाबा कैसे हार रहा हूँ मैं
तेरे रहते बाबा कैसे हार रहा हूँ मैं
ओ खाटू वाले कबसे तुझे पुकार रहा हूँ मैं
मेरे खाटू वाले कबसे तुझे पुकार रहा हूँ मैं
पुकार रहा हूँ मैं ..........
पुकार रहा हूँ मैं ..........
ना जाने कितने निशान चढ़ाये
शायद वो तुमको नज़र नहीं आये
रींगस से पैदल खाटू हर बार गया हूँ मैं
ओ खाटू वाले कबसे तुझे पुकार रहा हूँ मैं
पुकार रहा हूँ मैं ..........
पुकार रहा हूँ मैं ..........
कितनी लगाईं हैं अर्ज़ी तू भूला
नए नए प्रेमियों के प्रेम में तू भूला
उस पार थी खुशिया रोता इस पार रहा हूँ मैं
ओ खाटू वाले कबसे तुझे पुकार रहा हूँ मैं
पुकार रहा हूँ मैं ..........
पुकार रहा हूँ मैं ..........
सोनू लक्खा तेरे भरोसे चला है
एक तू है अपना तुझी से गिला है
उम्मीदें लेकर दर से हर बार गया हूँ मैं
ओ खाटू वाले कबसे तुझे पुकार रहा हूँ मैं
पुकार रहा हूँ मैं ..........
पुकार रहा हूँ मैं ..........
श्रेणी : कृष्ण भजन