कान्हा के बाल रूप मन में बिठाइये
कान्हा के बाल रूप मन में बिठाइये,
जन्ममास्टमी है आई खुशियां मनाइये,
माखन बना के भक्ति का प्रभु को खिलाइये,
कान्हा के बाल रूप मन में बिठाइये।।
नन्हे से मेरे कान्हा जी लड्डू गोपल है,
दर्शन जिन्हे मिलता होते निहाल है,
मन को बना के पालना उसमे झुलाइये,
माखन बना के भक्ति का प्रभु को खिलाइये,
कान्हा के बाल रूप मन में बिठाइये।।
कान्हा के बाल रूप का दर्शन सभी करो,
श्रद्धा से भक्ति भाव से पूजन सभी करो,
जीवन में अपने चैन के बंसी बजाइये,
माखन बना के भक्ति का प्रभु को खिलाइये,
कान्हा के बाल रूप मन में बिठाइये।।
भटकाइए न मन को श्री कृष्ण नाम ले,
कान्हा की किरपा पाए किस्मत सवार ले,
श्री कृष्ण भक्ति करके जीवन बनाये,
माखन बना के भक्ति का प्रभु को खिलाइये,
कान्हा के बाल रूप मन में बिठाइये।।
श्रेणी : कृष्ण भजन

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