आंबे तू है जगदम्बे काली
आरती श्री दुर्गाजी
अम्बे तू है जगदम्बे काली,
जय दुर्गे खप्पर वाली,
तेरे ही गुण गावें भारती,
ओ मैया हम सब उतारे तेरी आरती....
ओ मैया हम सब उतारे तेरी आरती...
तेरे भक्त जनो पर माता
भीर पड़ी है भारी,
दानव दल पर टूट पड़ो माँ
करके सिंह सवारी...
सौ-सौ सिहों से बलशाली,
है अष्ट भुजाओं वाली,
दुष्टों को तू ही ललकारती,
ओ मैया हम सब उतारे तेरी आरती....
माँ-बेटे का है इस जग में,
बड़ा ही निर्मल नाता,
पूत-कपूत सुने है,
पर ना माता सुनी कुमाता....
सब पे करूणा दर्शाने वाली,
अमृत बरसाने वाली,
दुखियों के दुखड़े निवारती,
ओ मैया हम सब उतारे तेरी आरती...
नहीं मांगते धन और दौलत,
न चांदी न सोना,
हम तो मांगें तेरे चरणों में,
छोटा सा कोना...
सबकी बिगड़ी बनाने वाली,
लाज बचाने वाली,
सतियों के सत को संवारती,
ओ मैया हम सब उतारे तेरी आरती...
ओ मैया हम सब उतारे तेरी आरती...
श्रेणी : दुर्गा भजन
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आंबे तू है जगदम्बे काली लिरिक्स Ambe Tu Hai Jagdambe Kali Lyrics, Durga Bhajan, by Singer: 56Indori Ji
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