कुछ ऐसा कर कमाल के खाटू आ जाऊ
कुछ ऐसा कर कमाल के खाटू आ जाऊ,
मैं भटक रहा फिहाल के तेरा हो जाऊ,
जुदाई ये अब तो ये अब तो सही न जायेगी ,
बोलो न किस्मत कब मेरी रंग लाएगी,
आने तड़पे तेरा लाल कुछ ऐसा करो कमाल के खाटू आ जाऊ,
मैं भटक रहा फिहाल के तेरा हो जाऊ,
दाया अब सँवारे मुझपर कीजिये दर्द जो दिया है दवा भी दीजिये,
मेरा हाल हुआ बे हाल कुछ ऐसा करो कमाल के खाटू आ जाऊ,
मैं भटक रहा फिहाल के तेरा हो जाऊ,
दर्शन को पा कर के मैं सब कुछ पा जाऊ यही चाहु मैं बाबा तुझमे भी समा जाऊ,
राखी हो जाए निहाल कुछ ऐसा करो कमाल के खाटू आ जाऊ,
मैं भटक रहा फिहाल के तेरा हो जाऊ,
श्रेणी : खाटू श्याम भजन
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